Reliance Power
📉 शेयर बाजार पर असर: निवेशकों में चिंता का माहौल
ED की छापेमारी के बाद Reliance Power और Reliance Infrastructure के शेयरों में लगभग 5% तक की गिरावट दर्ज की गई। बाजार खुलते ही निवेशकों ने घबराकर इन शेयरों में बिकवाली शुरू कर दी, जिससे ट्रेडिंग के शुरुआती घंटों में ही ये स्टॉक्स लोअर सर्किट के पास पहुंच गए।
विश्लेषकों का कहना है कि जब तक इस मामले में और स्पष्टता नहीं आती, तब तक इन कंपनियों में निवेश करना जोखिम भरा हो सकता है।
Reliance Power
🕵️♂️ क्या है पूरा मामला? (मनी लॉन्ड्रिंग जांच का विवरण)
सूत्रों के अनुसार, यह कार्रवाई 2019 में सामने आए Yes Bank मनी लॉन्ड्रिंग केस से जुड़ी है। उस दौरान YES Bank ने अनिल अंबानी समूह की कंपनियों को ₹3000 करोड़ से अधिक का कर्ज दिया था। जांच एजेंसियों को संदेह है कि इन फंड्स का उपयोग गलत उद्देश्यों के लिए किया गया।
जांच में शामिल संस्थाएं:
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SEBI: स्टॉक लेन-देन की जानकारी
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NHB: हाउसिंग फाइनेंस डील्स से जुड़ी जानकारी
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NFRA: लेखा परीक्षकों की रिपोर्ट
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बैंक ऑफ बड़ौदा: ट्रांजैक्शन डिटेल्स और बैंक स्टेटमेंट्स
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📊 स्टॉक्स का हाल – 23 जुलाई 2025 (दोपहर)
स्टॉक का नाम | वर्तमान भाव (₹) | गिरावट (%) |
---|---|---|
Reliance Power Ltd | 27.20 | -4.90% |
Reliance Infrastructure | 168.15 | -4.85% |
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📢 विश्लेषकों की राय: क्या करें निवेशक?
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शॉर्ट टर्म इनवेस्टर्स: फिलहाल बाहर रहना ही समझदारी होगी। कीमतों में और गिरावट संभव है।
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लॉन्ग टर्म इनवेस्टर्स: जिनके पास पहले से शेयर हैं, वे खबरों पर नज़र रखें और जल्दबाज़ी में बिकवाली न करें।
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नए निवेशक: जब तक कानूनी स्थिति स्पष्ट न हो जाए, नई एंट्री टालें।
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📌 भविष्य में क्या हो सकता है?
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यदि ED को कोई ठोस सबूत मिलते हैं तो अनिल अंबानी समूह पर और भी शिकंजा कस सकता है।
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इससे समूह की अन्य कंपनियों जैसे Reliance Naval, Reliance Capital आदि पर भी असर पड़ सकता है।
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मार्केट में अनिश्चितता बनी रह सकती है।
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❓ FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न):
Q1. Reliance Power और Infrastructure के शेयरों में गिरावट क्यों आई?
Ans: ED ने मनी लॉन्ड्रिंग के तहत अनिल अंबानी समूह से जुड़ी कंपनियों पर छापेमारी की, जिसके चलते शेयरों में 5% तक की गिरावट दर्ज की गई।
Q2. ED की छापेमारी किन शहरों में हुई?
Ans: यह छापेमारी मुंबई और नई दिल्ली में की गई।
Q3. जांच में कौन-कौन सी एजेंसियों ने सहयोग किया?
Ans: जांच में NHB, SEBI, NFRA और बैंक ऑफ बड़ौदा जैसी संस्थाओं ने ED को जानकारी दी।
Q4. YES बैंक का इसमें क्या संबंध है?
Ans: YES बैंक ने 2017-2019 के बीच Reliance Anil Ambani Group को लगभग ₹3000 करोड़ के कर्ज दिए, जिनमें संदिग्ध लेन-देन की बात सामने आई है।
Q5. क्या इससे निवेशकों को सतर्क रहना चाहिए?
Ans: हां, इस तरह की कानूनी कार्रवाई निवेशकों के लिए जोखिम को बढ़ा सकती है, इसलिए सावधानी बरतना ज़रूरी है।
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⚠️ Disclaimer (अस्वीकरण):
यह लेख केवल सामान्य जानकारी के उद्देश्य से प्रस्तुत किया गया है। इसमें दी गई जानकारी किसी भी निवेश, कानूनी, या वित्तीय सलाह के रूप में न ली जाए। शेयर बाजार में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है, निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से परामर्श अवश्य लें। लेख में उल्लिखित घटनाएं सार्वजनिक स्रोतों पर आधारित हैं।
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